हिंसा और दुष्कर्म जैसी घटनाओं को रोकेगी यशोधरा की विजयगाथा

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पुस्तक ‘‘ यशोधरा की विजयगाथाआई एन वी सी ,
लखनऊ ,
देश में नारी सशक्तिकरण हेतु लॉर्ड बुद्ध एजूकेशन एण्ड चेरिटेबिल सोसाइटी रजि0, नें इं़़ कुशलेश कुमार शाक्य द्वारा लिखित तथागत गौतम बुद्ध की पत्नी यशोधरा के महान त्यागमय जीवन पर आधारित विश्व की अद्वितीय पुस्तक ‘‘ यशोधरा की विजयगाथा ’’  को वर्ष- 2013 में नारी के समग्र विकास एवं उसके विचारों को सकारात्मक शक्ति प्रदान करनें के लिए प्रकाशित किया है। लेखक का दावा है कि यह पुस्तक समाज में महिलाओं के खिलाफ हो रही हिंसा और दुष्कर्म जैसी घटनाओं को रोकेगी क्योंकि ‘‘ मन में उपजे विचारों के अनुरूप ही मनुष्य की इंद्रियां और उसका शरीर कर्म करता है’’।

देश के राष्ट्रीय कवि नें नारी को ‘‘अबला’’ कहकर उसका अपमान ही नहीं बल्कि सम्पूर्ण नारी जाति को मानसिक रूप से कमजोर करनें का अप्रत्यक्ष अपराध किया है। प्राकृतिक आध्यात्मिकवाद नारी के अन्दर  है। प्रकृति के साथ रहना उसके स्वभाव में है, वह सत्य है, वह वैज्ञानिक है, वह मनोवैज्ञानिक है। जीवन की पूर्णतः और सृष्टि की निरंतरता का आधार ही जब नारी है तो वह अबला कैसे हो सकती है ? त्याग, समर्पण, कर्तव्य-परायणता और स्वेच्छा से धरा की तरह कष्ट सहनें की सामथर््य रखनें वाली नारी कभी अबला नहीं हो सकती। नारी सबला थी, वह सबला है और जब तक धरा पर जीवन रहेगा वह सबला ही रहेगी। भारतीय संस्कृति और सभ्यता नारी से ही जीवित है।
नारी को जागरूक करते हुए उसके साहस, आत्मविश्वास व मानसिक शक्ति को सशक्त बनानें , जीवन में खुशियां लानें, उसके मन में बैठे अज्ञात भय को दूर करनें एवं श्रेष्ठ विचारों की भावना को विकसित कर उन्हें दृढ़ता प्रदान करनें में ‘‘ यशोधरा की विजयगाथा ‘‘  पुस्तक मील का पत्थर साबित होगी। लेखक नें पुस्तक में नारी को सम्मान देते हुए यशोधरा के धैर्य, सहनशीलता, हृदय की विशालता, प्रकृति प्रेम, समानता और मानवता पर आधारित उनके प्रेरणादायी उच्च विचारों की महानता का वर्णन बहुत सुंदरता व सरल हिंदी भाषा का प्रयोग करते हुए किया है। जिसे पढ़कर आज की नारी का जीवन ही बदल सकता है।

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photoलेखक का परिचय – :
कुशलेश कुमार शाक्य
चीफ इंजीनियर
धामपुर शुगर मिल्स लि0, असमोली,जिला-सम्भल, उ0प्र0-244304
मोबाइल-09837888696,

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