
रोहतक,
हरियाणा राजकीय अध्यापक कल्याण संघ ने शिक्षा सुधार के लिए इलाहबाद उच्च न्यायालय के क्रान्तिकारी निर्णय का स्वागत किया है। माननीय उच्च न्यायालय ने सरकारी कर्मचारियों, अधिकारियों, जजों तथा जनप्रतिनिधियों के लिए अपने बच्चों को सरकारी स्कूलों में पढ़ाने का आदेश दिया है।
हरियाणा राजकीय अध्यापक कल्याण संघ छात्र संख्या बढ़ाने तथा शिक्षा सुधार के लिए लम्बे समय से ऐसी मांग करता रहा है। संघ के मुख्य संरक्षक देवराज नान्दल, प्रान्तीय प्रधान जितेन्द्र राठी, उपप्रधान शमशेर सिंह सिवाच तथा महासचिव कर्मवीर सिंह व मुख्य सलाहकार संतलाल बुद्धिराजा ने कहा है कि गत 24 अप्रैल को मुख्यमंत्री तथा शिक्षा मंत्री की अध्यक्षता वाली बैठक में भी संघ ने इस मांग को प्रभावी ढंग से उठाया था परन्तु सरकार ने इस मांग को अस्वीकार कर दिया था और कहा था कि ऐसा करना कानूनी रूप से संभव नहीं है।
संघ के वरिष्ठ नेताओं ने कहा है कि ईलाहबाद उच्च न्यायालय के फैसले को आगामी नये स्तर से हरियाणा में लागू करें। कृष्ण तथा सुदामा की तरह गरीब-अमीर सरकारी स्कूलों में एक साथ पढ़ें तभी गरीब-अमीर तथा जात-पात की समानता होगी और सरकारी स्कूलों का सुधार तथा उत्थान होगा।